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फलार मार्केट एट ला मादेलेन, एदुआर कोर्त Flower Market at La Madeleine, Edouard Cortes |
और फूल चुनता है
फूलवाली फूलों को बाँध देती है
आदमी जेब में हाथ डालता है
पैसे निकलने के लिए
फूलों की कीमत चुकाने के लिए
अचानक
दिल पर हाथ रखता है
और गिर जाता है
जिस पल वो गिरता है
पैसे ज़मीन पर लुढ़कते हैं
और फिर फूल भी गिरते हैं
उसी समय जब आदमी गिरता है
उसी समय जब पैसे गिरते हैं
और फूलवाली ठगी-सी देखती जाती है
पैसों को जो गिर रहें हैं
फूलों को जो ख़राब हो रहे हैं
आदमी को जो मर रहा है
बेशक ये सब बहुत दुखद है
और कुछ करना चाहिए
फूलवाली को
मगर उसकी समझ में कुछ नहीं आ रहा
वह नहीं जानती
कहाँ से शुरू करे
और गिर जाता है
जिस पल वो गिरता है
पैसे ज़मीन पर लुढ़कते हैं
और फिर फूल भी गिरते हैं
उसी समय जब आदमी गिरता है
उसी समय जब पैसे गिरते हैं
और फूलवाली ठगी-सी देखती जाती है
पैसों को जो गिर रहें हैं
फूलों को जो ख़राब हो रहे हैं
आदमी को जो मर रहा है
बेशक ये सब बहुत दुखद है
और कुछ करना चाहिए
फूलवाली को
मगर उसकी समझ में कुछ नहीं आ रहा
वह नहीं जानती
कहाँ से शुरू करे
कितना कुछ करना है
आदमी मर रहा है
फूल ख़राब हो रहे हैं
और ये सिक्के
आदमी मर रहा है
फूल ख़राब हो रहे हैं
और ये सिक्के
ये सिक्के लुढ़क रहे हैं
लुढ़कते जा रहे हैं
लुढ़कते जा रहे हैं
-- याक प्रेवेर

इस कविता का मूल फ्रेंच से हिंदी में अनुवाद -- रीनू तलवाड़